लोकसभा चुनाव को लेकर मायावती ने अपनी पहली लिस्ट जारी करते हुए 16 उम्मीदवारों को चुनावी मैदान में उतारने का फैसला लिया है। चुनावी लिस्ट में मायावती ने साथ मुस्लिम उम्मीदवारों को भी टिकट देने का काम किया है जो की इंडिया गठबंधन का खेल खराब कर सकते हैं।
मुस्लिम उम्मीदवारों के सामने बीएसपी ने भी उतारे मुस्लिम
लोकसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस पार्टी और समाजवादी पार्टी में इंडिया गठबंधन के तहत गठबंधन हो चुका है। दोनों ने एक साथ मिलकर चुनाव लड़ने का फैसला किया और सीट भी शेयरिंग हो गई। सपा और कांग्रेस ने अपने-अपने उम्मीदवारों को चुनावी मैदान में उतार दिया है। लेकिन अब बहुजन समाज पार्टी ने भी अपनी उम्मीदवारों की पहली सूची जारी कर दी है। यह सूची ने इंडिया गठबंधन की बेचैनियां बढ़ाने का काम कर दिया है। जिन सीटों पर इंडिया गठबंधन के तहत मुस्लिम उम्मीदवारों को उतारा गया था वहां पर मायावती ने मुस्लिम उम्मीदवार उतार दिए हैं। इनमे सहारनपुर, मुरादाबाद, रामपुर, संभल, अमरोहा, आंवला और पीलीभीत शामिल हैं. एक ओर सहारनपुर से कांग्रेस ने इमरान मसूद को टिकट दिया है। तो वहीं मायावती ने माजिद अली को उतारा है. कांग्रेस ने अमरोहा से दानिश अली को चुनावी मैदान में उतारा है तो बीएसपी ने मुजाहिद हुसैन को टिकट दिया है। तो वही संभल लोकसभा सीट से समाजवादी पार्टी ने शफीकुर्ररहमान के पोते जियार्ररहमान को चुनावी मैदान में उतारा है। तो वहीं बीएसपी ने भी उनके सामने शौकत अली को उतारने का फैसला किया है। अब इससे साफ जाहिर हो गया है कि मायावती इंडिया गठबंधन का खेल बिगड़ाने का काम करेंगी।
मायावती ने अकेले ही चुनाव लड़ने का लिया था फैसला
लोकसभा चुनाव की तारीखों से मायावती को इंडिया गठबंधन में शामिल करने को लेकर लगातार कोशिश की जा रही थी। लेकिन मायावती यही कहती आ रही थी कि वह किसी भी पार्टी के साथ गठबंधन नहीं करेगीऔर अकेले ही लोकसभा चुनाव लड़ेंगी। मायावती इस फैसले पर अटल रही और उन्होंने लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान होने के बाद अपनी उम्मीदवारों को चुनावी मैदान में उतारने का काम कर दिया है। वहीं अगर इंडिया गठबंधन की बात की जाए तो कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के बीच में सीटों को लेकर गठबंधन हुआ। इसमें समाजवादी पार्टी को 62 सीटें और कांग्रेस पार्टी को 17 सीटें दी गई है वही एक सीट चंदौली की टीएमसी के खाते में दी गई है। लेकिन कुछ भी हो मायावती की इस सूची ने इंडिया गठबंधन की बेचैनियां बढ़ा दी है।