दिल्ली दंगों के दौरान पुलिस पर हमला करने वाले दंगाई अपने साथियों के साथ गिरफ्तार

नई दिल्ली, 15 नवंबर (आईएएनएस)। उत्तर पूर्वी दिल्ली में दंगों के दौरान पुलिस पर हमला करने और एक हेड कांस्टेबल की सर्विस पिस्टल लूटने वाले दंगाइयों समेत चार लोगों को दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार कर लिया है।
 
दिल्ली दंगों के दौरान पुलिस पर हमला करने वाले दंगाई अपने साथियों के साथ गिरफ्तार
दिल्ली दंगों के दौरान पुलिस पर हमला करने वाले दंगाई अपने साथियों के साथ गिरफ्तार नई दिल्ली, 15 नवंबर (आईएएनएस)। उत्तर पूर्वी दिल्ली में दंगों के दौरान पुलिस पर हमला करने और एक हेड कांस्टेबल की सर्विस पिस्टल लूटने वाले दंगाइयों समेत चार लोगों को दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार कर लिया है।

इस हमले के दौरान हेड कांस्टेबल रतन लाल की मौत हो गई, जबकि कुछ वरिष्ठ पुलिस अधिकारी घायल हो गए। हेड कांस्टेबल छेत्रपाल सिंह, जिनकी सर्विस गन छीन ली गई थी, वह चोटों के कारण कोमा में चले गए। तीन आरोपियों की पहचान समीर उर्फ बाली, सुहैल चौधरी उर्फ बावर्ची उर्फ आसिफ और शाहनवाज उर्फ सानू के रूप में हुई है, जो इरफान उर्फ छेनू गिरोह के सदस्य हैं।

इनके पास से हेड कांस्टेबल छेत्रपाल सिंह से लूटी गई 9 एमएम की एक पिस्टल 5 जिंदा कारतूस के साथ बरामद हुई है। डीसीपी प्रमोद कुमार कुशवाहा ने कहा, आरोपी शाहिद उर्फ शाहबाज को हमारी टीम ने पकड़ लिया। उसने हेड कांस्टेबल क्षेत्रपाल सिंह पर हमला किया, जो लगातार वेजिटेटिव स्टेट में हैं।

आरोपियों ने उत्तर प्रदेश में आरएसएस कार्यालय और एक भाजपा नेता के घर पर भी गोलियां चलाईं। डीसीपी ने कहा- एसीपी ललित मोहन नेगी की निगरानी में इंस्पेक्टर रविंदर कुमार त्यागी, प्रमोद चौहान और अजीत सिंह की टीम को आरोपी आसिफ के बारे में सूचना मिली थी कि वह डकैती करने के लिए शाहदरा आएगा। हमने जाल बिछाया और आसिफ और शानू को पकड़ लिया। उसके बाद पुलिस ने बाली को मौजपुर से गिरफ्तार किया, उनसे पूछताछ के बाद शाहबाज को गिरफ्तार किया गया।

पुलिस ने कहा कि शाहिद उर्फ शाहबाज तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भारत यात्रा के दौरान हुए दंगों में सक्रिय रूप से शामिल था। वह 24 फरवरी, 2020 को दिल्ली के दयालपुर के चांद बाग में हुए दंगों का हिस्सा था। उसने हेड कांस्टेबल छेत्रपाल की सरकारी पिस्तौल लूट ली थी, जिन पर दंगाइयों ने हमला किया था। इस हमले में एक डीसीपी, एसीपी और कई पुलिस अधिकारी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। दंगे के दौरान घायल हेड कांस्टेबल रतन लाल ने दम तोड़ दिया था। हेड कांस्टेबल छेत्रपाल जिनकी पिस्तौल आरोपी ने छीन ली थी, उन्हें भी कई गंभीर चोटें आई और वह इस समय कोमा में हैं।

पूछताछ के दौरान, शाहबाज ने खुलासा किया कि वह दिसंबर 2019 से फरवरी 2020 तक सीएए/एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन का हिस्सा था। उसने अपने सहयोगियों के साथ उस विरोध प्रदर्शन में भी भाग लिया था जिसमें वजीराबाद मार्ग को अवरुद्ध कर दिया था जिसके परिणामस्वरूप वहां दंगे हुए थे। इस दंगे में उन्होंने पुलिस पर हमला कर दिया। मामले में आगे की जांच जारी है।

--आईएएनएस

केसी/एएनएम

From around the web